रामनगर वन प्रभाग में जिप्सी चालक ने पर्यटकों की जान जोखिम में डाली, बाघिन वाहन पर झपटी, चिल्ला उठे पर्यटक, बचाओ-बचाओ

रामनगर वन प्रभाग के सीतावनी पर्यटन जोन की वीडियो हो रहा वायरल
डीएफओ ने मामले का गंभीरता से लिया संज्ञान, चालक और स्वामी पर केस
पूरे प्रकरण की शुरू हुई जांच, जिप्सी को किया गया हमेशा के लिए बैन

दैनिक समाचार, देहरादून: रामनगर वन प्रभाग अंतर्गत बुधवार को बड़ी घटना टल गई। प्रभाग के सीतावनी पर्यटन जोन में पर्यटकों की जीप पर बाघ ने हमला किया लेकिन वे बाल-बाल बच गए। हालांकि इस मामले में सफारी कराने वाले जिप्सी चालक और गाइड की गलती मानी जा रही है। दरअसल, इस बाबत एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। फिलहाल प्राथमिक जानकारी मिलने पर वन विभाग ने जिप्सी चालक और स्वामी के खिलाफ वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज करते हुए पूरे मामले की जांच शुरू कर दी गई है।
बताया जाता है कि रामनगर वन प्रभाग अंतर्गत सीतावनी पर्यटन जोन में जिप्सी से पर्यटक डे सफारी के लिए निकले थे। सुबह की जंगल सफारी में एक जिप्सी चालक पर्यटकों को लेकर सीतावनी जोन से पहले ही लोनिवि की सड़क किनारे झाड़ी में बाघिन को देखकर रुक गया और पर्यटक बाघिन की वीडियो बनाने लगे। इस बीच, पर्यटक उत्साहित और रोमांचित होने के साथ ही शोर मचाने लगे, तभी अचानक बाघिन ने अपने नुकीले दांत और आवाज से एक तरह से पर्यटकों और जिप्सी वाले को हटने का संकेत दिया लेकिन पर्यटकों को सामने से न हटता देख बाघिन झाड़ी से बाहर निकलकर पर्यटकों पर झपट गई। ये तो गनीमत रही कि जिप्सी चालक और गाइड ने तेज आवाज करके बाघिन को किसी तरह से जिप्सी से दूर किया और तेजी से पर्यटकों की जिप्सी लेकर भागा। जब ये बात डीएफओ कुंदन कुमार को पता चली तो उन्होंने तुरंत वन प्रभाग के अधिकारियों को वायरल वीडियो के आधार पर जिप्सी को चिंहिृत करते हुए टेडत्रा वन चौकी के गेट पर जिप्सी को रोका गया और वन्य जीव संरक्षण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। फिलहाल पूरे प्रकरण की जांच शुरू कर दी गई है। प्रथम दृष्टया जिप्सी चालक की लापरवाही मानी गई है। गाईड की भूमिका को भी जांच के केन्द्र में शामिल किया गया है। डीएफओ कुंदन कुमार ने बताया कि पूरे मामले की जांच हो रही है। जिप्सी एसोसिएशन के पदाधिकारियों को भी ये बात बता दी गई है। जिप्सी को भी सीतावनी जोन में हमेशा के लिए प्रतिबंधित करने का निर्णय भी लिया जा रहा है।

बच्चों के साथ ज्यादा आक्रामक होती है बाघिन
वन विभाग के अधिकारियों का मानना है कि पिछले कुछ दिनों से बाघिन और उसके बच्चे इस ओर दिखाइ दे रहे हैं। जब मादा अपने बच्चों के साथ होती है तो वह बेहद आक्रामक होती है। उसे किसी तरह का बाहरी दखल या दबाव बर्दाश्त नहीं होता है। जिप्सी चालक ने बाघिन के गुर्राने के बाद भी उसे आगे नहीं बढ़ाया, जिसकी वजह से बाघिन ने पर्यटकों की जिप्सी पर झपटा मारा।

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